स्टारबक्स ने अपनी प्रचार में अर्पिता का खुलासा किया तो दिखा दिया मगर ये नहीं बताया कि इस तरह की सर्जरी के परिणाम क्या होते हैं। क्या ये कोई बड़ी आसान प्रक्रिया है जिससे एक पुरुष से महिला बन सकती है? फिर ध्यान दें बात ये भी है कि इस प्रचार में ये नहीं बताया गया है कि भारत में कई समुदाय होते हैं। कुछ ऐसे भी हैं, जिन्हें ये हरगिज नहीं देंगे। Small Talk की इस कड़ी में दर्शकों के अनुरोध पर Starbucks के संबंधित संबंधित विज्ञापन पर एक दृष्टि…

आज हम लोग बात कर रहें हैं star बक्स की जाना माना food chain है और इस food chain की ख़ास बात यह है की यह कॉफी परोस रहा होता है और कॉफी जो ये परोस रहा होता है उस कॉफ़ी में कुछ खास होता है या नहीं होता है ये तो पता नहीं लेकिन ब्रांड इतना जाना पहचाना है की भारत भर में इसकी दर्जनों दुकान है. दर्जनों इसके रिटेल आउटलेट है और विश्व भर पे अगर हम लोग देखें तो विश्व भर में इसकी गिनती सैकड़ो हजारों में पहुंच शक्ति है अब इन्होंने भारत में जो अपना एक एड हाल में ही लॉन्च किया है इस ऐड में ये एक lgbt q + का जो मुद्दा होता है. उसे सामने लेकर आए हैं और उसका जमकर विरोध हो रहा है इस ऐड की कहानी के बारे में अगर बात करें तो कहानी कुछ ऐसे शुरू होती है की उसमें एक परिवार के दो लोग मतलब 55-60 वर्षीय व्यक्ति और उसकी पत्नी बैठे होते हैं और पत्नी समझा रही होती है की आज तो इस पर गुस्साइएगा मत अब जाहिर है बाप है और वो अपने बेटे से किसी बात पर नाराज है जो की साफ पता चल जाता है उसके पास एक फोन आता है अर्पित नाम नजर आता है और वो फोन को काट देता है ये जो एड होता है इतना हिस्सा जैसे मेरी नजर इतनी हिससे पर पड़ी तो मुझे एक पुराने जमाने का एक आम सा सामाजिक व्यवहार जो होता है वो याद आ गया पुराना जमाना मतलब अभी से कुछ 10-20 साल पहले का दौर अगर आप देखें तो उसमें पड़ोस की कोई ना कोई चाची-नानी ऐसी होती थी जो पूछ बैठी थी की आपका बच्चा इकलौता बच्चा ही है क्या और बच्चे नहीं हैं आपके एक बच्चे का होना तो ना होने के बच्चे के ना होने के जैसा है होता क्या था पुराने जमाने में की अक्सर जो है वो बीमारियों से बच्चों की मौत हो जाया करती थी बच्चे बड़े नहीं हो पाते थे कई दुर्घटनाएं कई बार युद्ध वगैरा भी हो रहे होते थे तो उसकी वजह से लोग मानते थे की एक बच्चे का होना बच्चों के ना होने जैसा ही है अगर आपको अपना परिवार अपना वंश आगे बढ़ाना है तो आपके एक से अधिक बच्चे होने ही चाहिए अब इस एड में जैसा की नजर आ रहा होता है परिवार का एक ही बच्चा है तो वो जो भी कहेगा वो मां-बाप को सुनना ही है और मानना ही है चाहे वो सही हो गलत हो जैसा भी हो तो खैर जो भी हो हम लोग वापस ऐड पर चलते हैं एड की कहानी को हम लोग पहले देख लेते हैं और फिर तय करेंगे की इस पर और क्या चर्चा की जा शक्ति है क्या बात की जा शक्ति है तो आईये add देखते हैं एडिटर साहब आपके पास एड होगा लगाएंगे जड़ा लगा दीजिये (ऊपर के विडियो में ऐड मौजूद )

सुनो इस बार गुस्सा मत होना प्लीज

थैंक यू पापा मुझसे मिलने के लिए
मुझे पता है बड़े साल बीत गये
लेकिन आप आज भी मेरे लिए सब कुछ हो
कॉफ़ी ?

तेरी आदते नहीं बदली
कोल्ड कॉफ़ी फॉर अर्पिता
बेटा मेरे लिए तू आज भी मेरा बच्चा है
बस एक लैटर ही तो बढ़ा है तेरे नाम में (अर्पित से अर्पिता)

तो एड जो है इसमें आप जैसा की देख रहें हैं एक lgbt q + का मुद्दा सामने लाया गया है एलजीबीटी q का मुद्दा भी सामने नहीं लाया गया है ये ट्रांसजेंडर का मामला है ट्रांसजेंडर यानी एक बच्चा जो की पुरुष पैदा हुआ था मगर थोड़ा कंफ्यूज है की वो पुरुष है भी या नहीं इसीलिए बाद में उसने अपना लिंग परिवर्तन करवा लिया है अपना सेक्स चेंज करवा लिया है सर्जरी वगैरा के माध्यम से बदलकर वो अर्पित से अर्पिता हो गया है इस पर कई लोगों को शिकायत इसलिए हुई क्योंकि उनका कहना था की भैया ये अर्पित ही अर्पिता क्यों हो रहा है भाई कोई सहबाज शबनम क्यों नही हो जाता ? भाई कोई जॉन जोन्स क्यूँ नही हो जाती ? तो ये सब जो नही हो रहा है था उसके लिए कुछ लोगों को शिकायत थी की भाई हिंदू नाम ही क्यों दिखा रहे हैं मगर चलिए हम लोग फिलहाल के लिए उसको छोड़ देते हैं इस add में जो दिखाए जा रहा है उसका समर्थन करने वाले जो कुछ लोग होते हैं हमारे पास देवदत्त पटनायक जैसे कई लोग हैं जो इसका समर्थन कर रहे होते हैं तो वो जो चीज नहीं बताते या वो चीज जो चीजे उल्टा कर गलत तरीके से पेस करते हुए बताते हैं उसमें से सबसे पहले तो ये होता है की वो ये कहते हैं की भाई भारत में तो अर्धनारीश्वर की परंपरा रही है वहां ट्रांसजेंडर से शिकायत कैसी ? तो भई ऐसा है की वहां ट्रांसजेंडर की जो बात हो रही होती है उसमें कोई अपना लिंग जबरन परिवर्तन करवा कर किसी और लिंग में नहीं जा रहा होता।

जो अर्धनारीश्वर में आप देखते हैं वो प्रकृति और पुरुष का संयोग उसका कॉन्सेप्ट है ये साइंस में जो इस्तेमाल होता है एनर्जी और मास का कॉन्सेप्ट उसे दर्शाने के लिए इस्तेमाल होता है शिव शव और इ की मात्रा से बनते है शव यानी मॉस, और इ यानी एनर्जी तो आप जो साइंस में e = mc2 का फ़ॉर्मूला पढ़ते हैं जिसके लिए आइन्स्टाइन काफी प्रसिद्ध है , काफी फेमस हैं

ट्रांसजेंडर से लेना देना नहीं होता दूसरी कहानी भी दिखाई जाति है जिसमें स्त्री पुरुष हो जाता है या पुरुष स्त्री हो जाता है जैसे की मोहिनी का रूप ले लेना विष्णु का तो ये सब जो मामले थे ये अवतार के मामले थे यानी आपको प्राप्त कर रहे होते हैं जैसे की भगवान राम की स्थिति में होता है आप धरती पर जन्म लेते हैं एक नया शरीर प्राप्त करते हैं नरसिम अवतार में होता है आप एक नया शरीर प्राप्त करते हैं पूर्व अवतार में होता है आप एक कछु का शरीर प्राप्त कर लेते हैं ऐसे ही मोहिनी के अवतार में होता है आप एक नया शरीर प्राप्त कर लेते हैं आप अपने ही शरीर में कोई परिवर्तन नहीं करवा लेते अल में जो यहां छुपाया जा रहा है वह यह है की यह कम कोई बहुत आसानी से हो जाए ऐसा नहीं है प्रकृति ने आपको जो शरीफ दिया है मां लीजिए अगर वो शरीर पुरुष का था और आप स्त्री हो जाना चाहते हैं तो आपको अपने शरीर का एक हिस्सा काटकर हवा देना पड़ता है तो सबसे पहले सर्जरी से एक हिस्सा काटकर हटवाया जाएगा फिर ड्रिल से वहां एक छिद्र बनाया जाएगा इस गाव को भरने में काफी समय लगेगा क्योंकि सर्जरी हुई है और सर्जरी का कोई भी था और एक दिन में नहीं भर जाता उसे अपना समय लगता है और ये जो समय होता है ये जो टाइम पीरियड होता है ये काफी तकलीफ से होता है कोई बहुत मजेदार नहीं होता इस चीज को यहां छुपा लिया गया है कर कर दिया गया है इतना सब कुछ होने के बाद भी आपका कम हो जाएगा ऐसा नहीं है आपको बहुत से हारमोंस की जरूर पड़ेगी बहुत से आपको दबे खानी पड़ेगी कई हारमोंस जो है वो आपको कंट्रोल में रखती पढ़ेंगे और अगर आपने ये सब नहीं किया तो

किस परिवर्तन हो सकता है किसी भी किम का चेंज हो सकता है और आपकी स्थिति बड़ी खराब हो जाए ऐसा भी हो सकता है क्योंकि सर्जरी असफल होती है यह तो आपको पता ही होगा ऑपरेशन सफल नहीं होता हर सर्जरी सफल होगी इसकी गारंटी डॉक्टर स्वयं भी नहीं ले सकते काफी जो अनुभवी डॉक्टर होते हैं वो भी नहीं ले सकते इसलिए कोई गड़बड़ी नहीं होगी कोई दिक्कत नहीं होगी बाद में कोई कॉम्प्लिकेशंस नहीं आएगी ऐसा नहीं कहा जा सकता इसका जो नतीजा होगा वो आपको भगत अपने

पद सके आई है की धार्मिक कथाओ में या हिंदू मान्यताओं में जो ऐसी कहानी आई हैं वो कहानी आखिर आपको बताती क्या है अगर आप शिखंडी की कहानी देखेंगे तो आप पाएंगे की वो पुरुष से स्त्री या स्त्री से पुरुष हो रहा है और स्त्री से पुरुष जब वो हो जाता है और वो बीच के से एक शरीर में पहुंच जाता है जैसे शिकंदी कहा जाता है तो वो कोई बहुत सुखी जीवन नहीं व्यतीत कर रहा होता उसके बाद उसके बाद उसने कोई बहुत बड़ी सफलता काली हो ऐसा नहीं होता जहां पर और जगह पर भी अगर आप पाएंगे की कोई पुरुष स्त्री हो गया जैसा की चंद्रमा और बुद्ध की कहानी में आपको एक बार ये मिल जाएगा तो वहां पे आप पाएंगे की शार्प वाश ऐसा हो गया था और दंडित करने के लिए किसी को दंडित करने के लिए किसी को उसकी गलती की सजा देने के लिए ऐसा किया गया था शौक पूरे करने के लिए इस किम की हरकतें इसके अलावा इसमें और भी समस्याएं हैं समस्याएं क्या है जो इस एड में दर्शी नहीं गई या आपको बताई नहीं गई जाहिर सी बात है एड या कोई प्रचार अगर आपको दिखा रहे हैं तो सिर्फ अच्छी अच्छी बात है बताई जाएगी बुरी बातें तो बताएंगे नहीं तो जो बुरी बातें नहीं बताई गई है उनमें से सबसे जरूरी बात की होती है की जो 377 होती है जो धारा 377 थी जिसके तहत समलैंगिक होना एक अपराध होता था जुर्म होता था वो ब्रिटिश इसी कानून थी भारत में ईसाइयों की संख्या अच्छी खासी है

आपके लिए भारी समस्या हो शक्ति है

सुप्रीम कोर्ट में 377 को खत्म किया जान के खिलाफ मुकदमा डर रहे थे कोई हिंदू संगठन नहीं था हिंदू बहुत सहिष्णुता किम के लोग होते हैं उनके पास चल जाता है उन्हें कोई फर्क नहीं पड़ता की आपका विचार कैसा है आप कौन से देवी देवता को मानते हैं आप गोरे हैं या कल हैं आप खाने में शाकाहारी हैं या मांसाहारी हैं इन सब बटन को वो निजी मानते हैं आप कौन से देवी देवता को मानते हैं कौन सी पूजा करते हैं किस किम का तिलक लगाते हैं या आपका यौन ओरियंटेशन आपका यो संबंधी झुकाव किशोर है यह सब बात वो निजी मानते हैं और वो आपको जान देंगे इन बटन के लिए लेकिन सभी समुदाय ऐसा नहीं करते भारत में जुड़ा के नारे लगाते हुए बड़ी-बड़ी भीड़ को आप देख चुके हैं और सर्तन जुड़ा के सिर्फ नारे नहीं लगाएं गए थे राजस्थान में ऐसी घटना हो चुकी है उत्तर प्रदेश में ऐसी घटना हो चुकी है और दिल्ली में भाजपा की एक बड़ी नेत्री को घर में घूस रहना इसलिए पढ़ रहा है क्योंकि उसके खिलाफ भी सर्तन जुड़ा के नारे ग गए थे तो एक समुदाय ऐसा भी है जो आपके खिलाफ सर्तन जुड़ा के नारे लगा सकता है और भारत में अगर आप हैं तो हो सकता है सचमुच आपका सर्तन जुड़ा कर भी दिया जाए और उसके खिलाफ कुछ भी नहीं होगा आप जानते हैं कमलेश तिवारी वाले मामले में करीब करीब कुछ भी नहीं हुआ दो लोग जय गए हैं मगर मुकदमा लंबा चलेगा कब सजा होगी इसे रेयरेस्ट ऑफ डी रेयर कैसे माना जाएगा या नहीं फैंसी होगी या नहीं कोई नहीं जानता तो इस तरह की समस्याओं का सामना आपको करना पद सकता है और इस बड़े में आपको एड में या आपको प्रचार में कोई कुछ भी नहीं बताता तो जिन समुदायों से आपको खतरा हो सकता है उनके बड़े में भी आपको सोचना पड़ेगा इन साड़ी बटन को सोच लीजिए फैसला कीजिए और उसके बाद सोचिए ये एड युवाओं को पद भ्रष्ट कर रहा है या नहीं कर रहा क्योंकि ये एड जो है वो स्टारबक्स नाम की कंपनी का है और स्टार बस युवाओं और युवतियों को टारगेट करने वाली कंपनी ही मनी जाति है उसके कॉफी शॉप में उसकी कॉफी की जो शॉप्स की पुरी चीन होती है उसका टारगेट कस्टमर युवा वर्ग भी होता है

क्योंकि सर आपका है सर तन  से  जुदा  पसंद तो नहीं आएगा ना ! धन्यवाद

By anandkumar

आनंद ने कंप्यूटर साइंस में डिग्री हासिल की है और मास्टर स्तर पर मार्केटिंग और मीडिया मैनेजमेंट की पढ़ाई की है। उन्होंने बाजार और सामाजिक अनुसंधान में एक दशक से अधिक समय तक काम किया। दोनों काम के दायित्वों के कारण और व्यक्तिगत रूचि के लिए भी, उन्होंने पूरे भारत में यात्राएं की हैं। वर्तमान में, वह भारत के 500+ में घूमने, अथवा काम के सिलसिले में जा चुके हैं। पिछले कुछ वर्षों से, वह पटना, बिहार में स्थित है, और इन दिनों संस्कृत विषय से स्नातक (शास्त्री) की पढ़ाई पूरी कर रहें है। एक सामग्री लेखक के रूप में, उनके पास OpIndia, IChowk, और कई अन्य वेबसाइटों और ब्लॉगों पर कई लेख हैं। भगवद् गीता पर उनकी पहली पुस्तक "गीतायन" अमेज़न पर बेस्ट सेलर रह चुकी है। Note:- किसी भी तरह के विवाद उत्प्पन होने की स्थिति में इसकी जिम्मेदारी चैनल या संस्थान या फिर news website की नही होगी लेखक इसके लिए स्वयम जिम्मेदार होगा, संसथान में काम या सहयोग देने वाले लोगो पर ही मुकदमा दायर किया जा सकता है. कोर्ट के आदेश के बाद ही लेखक की सुचना मुहैया करवाई जाएगी धन्यवाद

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