सांकेतिक तस्वीर
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गोरखपुर में फर्जी नियुक्ति पत्र पर वार्ड ब्वॉय की नौकरी हासिल करने की कोशिश करने वाले युवक पर पुलिस ने जालसाजी का मामला दर्ज किया। जांच के दौरान पता चला कि भ्रष्टाचार पर वार्ड ब्वॉय की नियुक्ति संबंधी चिकित्सा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण के निदेशक के हस्ताक्षर व मुहर लगा पत्र व्हाट्सएप के माध्यम से सीएमओ को मिला। सीएमओ की तहरीर पर कोतवाली पुलिस देवरिया के राजन मिश्रा के खिलाफ मामला दर्ज कर मामले की जांच कर रही है।
जानकारी के अनुसार, देवरिया के शाहपुर शुक्ला, गोल्ड आनंद नगर निवासी राजन मिश्रा पुत्र विरेंद्र मिश्रा ने निदेशक के हस्ताक्षर से दस्तावेज पर नियुक्ति का पत्र सीएमओ को भेजा था। निदेशक के हस्ताक्षर वाले पत्र को देखकर सीएमओ के कान खड़े हो गए। क्योंकि, चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की नियुक्ति का सीएम अधिकार है और पत्र पर निदेशक के हस्ताक्षर थे।
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संदेह के आधार पर सीएमओ ने संदेश को सुरक्षित कर लिया, लेकिन एक्ससे ने भेजे गए पत्र को व्हाट्सएप मैसेज डिलीट कर दिया। उन्होंने मामले में सूचना निदेशक को दे दी। उनके खिलाफ निर्देश पत्र में नाम दर्ज कर जालसाजी का मुकदमा दर्ज कराया।
सीएमओ डॉ. आशुतोष कुमार दुबे ने बताया कि इस मामले में पत्र मिलने के बाद सात दिन तक संबंधित युवक के ज्वाइन करने के लिए ऑफिस में आने का इंतजार किया। पत्र 19 मई को व्हाट्सएप से भेजा गया था। योजना थी कि युवक को जब चार्ज तय होगा तो उसकी पुलिस के खाते होंगे। वह चार्ज नहीं आया। ऐसे में प्रक्रिया को आगे बढ़ाया गया है।